मोतीडूंगरी स्थित श्रीगणेशजी मंदिर में शनिवार से जन्मोत्सव कार्यक्रम शुरू हो गए। गणेशजी महाराज का दूध, दही घी से पुष्य नक्षत्र अभिषेक किया गया। महिलाओं ने कलश यात्रा निकाली। मंदिर में ध्वज पूजन के बाद नया ध्वज चढ़ाया गया। भगवान गणपति को अभिषेक के बाद 1008 मोदक का भोग लगाया गया।मंदिर महंत कैलाश शर्मा के सानिध्य में भगवान गणेश का 251 किलो दूध, 25 किलो बूरा, 50 किलो दही, 11 किलो शहद, 11 किलो घी से अभिषेक किया गया। साथ ही गुलाब जल, केवड़ा जल व इत्र से भगवान गणपति का अभिषेक पुष्य नक्षत्र अभिषेक हुआ। मंदिर महंत कैलाश शर्मा ने बताया- इस अवसर पर 501 महिलाएं मोती डूंगरी तक कलश यात्रा लेकर आई। अभिषेक के बाद भक्तों को रक्षा सूत्र और हल्दी प्रसाद निःशुल्क वितरित किये गए। अभिषेक के बाद भगवान श्री का ध्वज पूजन हुआ और मन्दिर में नया ध्वज चढ़ाया गया। भगवान श्रीगणेश जी के 1008 मोदक अर्पित किए गए। उन्होंने बताया इस साल गणेश चतुर्थी पर्व भाद्रपद शुक्ल चतुर्थी, शनिवार 7 सितम्बर को मनाया जाएगा। इस दौरान श्री मोती डूंगरी गणेशजी मंदिर में 9 दिवसीय जन्मोत्सव की आज से शुरुआत हुई है। इसके बाद 4 सितम्बर को मोदकों की झांकी सजेगी। इसमें 251-251 किलो के दो विशाल मोदक होंगे। इन दोनों के अलावा 51-51 किलोग्राम के 5 मोदक, 21-21 किलोग्राम के 21 मोदक, 1.25-1.25 किलोग्राम के 1100 मोदक और हजारों की संख्या में अन्य छोटे मोदक रखे जाएंगे। 6 सितम्बर को सिंजारा और मेहंदी पूजन होगा। सिंजारे पर भगवान गणपति चांदी के सिंहासन पर विराजेंगे इसके साथ ही भगवान को स्वर्ण मुकुट धारण कराया जाएगा। 7 सितम्बर को जन्मोत्सव, और 8 सितम्बर को भव्य शोभा यात्रा निकाली जाएगी।