असम (Assam) और मेघालय (Meghalaya) के मुख्यमंत्रियों ने रविवार को अपने सीमा विवाद (Boundary Disputes) को सुलझाने के लिए बहुत ही महत्वपुर्ण कदम उठाया है. दोनों ही राज्य सरकारों ने अपने राज्यों की छह सीमा क्षेत्रों के बीच विवादों को निपटाने के लिए तीन क्षेत्रीय स्तर की समितियां (Regional Level Committees) बनाने का फैसला किया है. दिसपुर के जनता भवन में रविवार को हुई दोनों राज्यों के मुख्यमंत्रियों की बैठक में यह फैसला लिया गया.
जानकारी के अनुसार दोनों सरकारों के बीच हुई मीटिंग के बाद मेघालय के मुख्यमंत्री ने असम के साथ सीमा विवाद के 12 क्षेत्रों का जिक्र किया. जिस पर फैसला लेते हुए दोनों ही मुख्यमंत्रियों ने पहले चरण में छह विवादित स्थलों को हल करने के लिए बैठकें और चर्चा की, इसके साथ ही बाकी बचे हुए छह विवादित क्षेत्रों को दूसरे चरण के लिए छोड़ दिया गया है.
क्षेत्रीय समितियों के गठन का फैसला
फिलहाल बताया जा रहा है कि दोनों राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने रविवार को हुई मुख्यमंत्री स्तर की 9वीं बैठक में तीन क्षेत्रीय समितियों के गठन का फैसला किया है. जिससे की दोनों राज्यों के बीच सीमा विवाद के छह क्षेत्रों को हल करने का रास्ता निकाला जा सके.
केएएसी सदस्य भी होंगे शामिल
बताया जा रहा है कि इन तीन समितियों का नेतृत्व प्रत्येक राज्य के कैबिनेट मंत्रियों के साथ-साथ कार्बी आंगलोंग स्वायत्त परिषद (केएएसी) के सदस्य भी करेंगे. ऐसा इसलिए क्योंकि छह विवादास्पद स्थलों में से तीन इसके अधिकार क्षेत्र में आते हैं.
फिलहाल इन क्षेत्रों में सद्भावना और विश्वास बनाए रखने के लिए असम (Assam) और मेघालय (Meghalaya) के मुख्यमंत्री भी विवादित स्थलों का दौरा करेंगे और स्थानीय लोगों से बातचीत करेंगे. इसी बीच असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा (Himanta Biswa Sarma) ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को धन्यवाद देते हुए कहा कि पहले चरण में छह विवादित सीमाओं को हल करने के बाद, शेष सीमा विवादों को भी उनके मार्गदर्शन में सौहार्दपूर्ण ढंग से हल किया जाएगा.