केयंस सेमीकान की फैक्ट्री के लिए कंपनी ने 46 एकड़ जमीन का अधिग्रहण किया है। इस प्लांट में बनने वाले सेमीकंडक्टर का बड़ा हिस्सा केयंस कंपनी स्वयं खरीदेगी और अपने विभिन्न उत्पादों में इस्तेमाल करेगी। इसमें बनने वाले सेमीकंडक्टर ऑटोमोबाइल बिजली इलेक्ट्रिक वाहन इलेक्ट्रोनिक्स उपकरण उद्योग आदि में इस्तेमाल किये जाएंगे। प्लांट से रोजगार के अवसर भी पैदा होने की उम्मीद है

देश में पांचवे सेमीकंडक्टर प्लांट लगाने के प्रस्ताव को केंद्र सरकार ने मंजूरी दे दी है। पीएम नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में कैबिनेट की बैठक में केयंस सेमीकान की तरफ से भारत में सेमीकंडक्टर प्लांट लगाने के प्रस्ताव को हरी झंडी दिखाई गई। 3307 करोड़ रुपये की लागत वाली यह परियोजना सालाना 63 लाख चिप का निर्माण करेगी। यह प्लांट गुजरात के सानंद में लगाया जाएगा। यह देश में लगने वाला पांचवा और गुजरात में लगाये जाने वाला चौथा सेमीकंडक्टर प्लांट होगा।

सेमीकंडक्टर इकोसिस्टम बनेगा देश में

गुजरात के अलावा एक प्लांट (टाटा समूह का) असम में लगाया जाएगा। पिछले वर्ष पीएम मोदी ने सानंद के पास ही अमेरिकी चिप निर्माता कंपनी मैक्रोन का प्लांट लगाने का एलान किया था। सोमवार को कैबिनेट के फैसले के बारे में जानकारी देते हुए सूचना व प्रसारण और आईटी मंत्री अश्वनी वैष्णव ने बताया कि देश में एक संपूर्ण सेमीकंडक्टर इकोसिस्टम स्थापित होने लगा है।

2025 तक आएगी पहली चिप

उन्होंने संकेत दिया कि सेमीकंडक्टर उद्योग को लेकर सरकार कुछ नीतिगत फैसले जल्द होंगे। वह पहले ही कह चुके हैं कि भारत निर्मित पहला चिप 2025 के अंत तक आ जाएगा। वैष्णव ने बताया कि सेमीकंडक्टर उद्योग भारत के विकास में बहुत ही अहम भूमिका निभाएगा। यह उद्योग स्टील व रसायन उद्योग की तरह ही है जो कई दूसरे उद्योगों को स्थापित करने में मदद करेगा। इसका असर भारत में इलेक्ट्रोनिक्स उद्योग पर भी बहुत ही व्यापक होगा।