कभी भारत की खाद्य सुरक्षा दुनिया की चिंता का विषय थी, आज भारत दुनिया को खाद्य सुरक्षा और पोषण सुरक्षा के समाधान देने में जुटा हुआ है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रीय राजधानी में कृषि अर्थशास्त्रियों के अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन (आइसीएइ) का उद्घाटन करते हुए यह बात कही। यह सम्मेलन भारत में 65 साल बाद आयोजित किया गया है। सात दिवसीय इस सम्मेलन में दुनिया भर के करीब 1000 प्रतिनिधि भाग ले रहे हैं, जिसमें 40 प्रतिशत से अधिक महिला प्रतिनिधि हैं। पीएम मोदी ने उद्घाटन भाषण में कहा कि 65 साल पहले जब भारत ने मैसूर में इस सम्मेलन का आयोजन किया था। उस समय भारत की खाद्य सुरक्षा दुनिया की चिंता का विषय था, आज भारत दुनिया की खाद्य सुरक्षा की चिंता कर रहा है। पीएम मोदी ने कहा कि ‘फूड सिस्टम ट्रांसफॉर्मेशन’ (खाद्य प्रणाली का कायाकल्प) जैसे विषय पर चर्चा करने के लिए भारत के अनुभव बहुमूल्य हैं। इसका बहुत बड़ा लाभ विशेषकर ग्लोबल साउथ को मिलना तय है। उद्घाटन सत्र को कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान, आइसीएइ के अध्यक्ष डॉक्टर मतीन कैम और नीति आयोग के सदस्य प्रोफेसर रमेश चंद ने भी संबोधित किया। प्रधानमंत्री ने कहा, कृषि क्षेत्र भारत की आर्थिक नीति में केंद्रीय महत्व रखता है। हमारे यहां, करीब 90 प्रतिशत कृषक परिवार ऐसे हैं, जिनके पास बहुत कम जमीन है। ये छोटे किसान ही भारत की खाद्य सुरक्षा की सबसे बड़ी ताकत हैं। यही स्थिति एशिया के कई विकासशील देशों में है। इसलिए, भारत का मॉडल कई देशों के काम आ सकता है।
Join our app to earn points & get the text & video content in your preffered language
PLease Click Here to Join Now
Search
Categories
- City News
- State News
- National
- Crime
- Entertainment
- Viral News
- Special
- Sports
- Politics
- Business
- International
- Health
- Spiritual
- Agriculture
- Education
- Election
Read More
Business News: सोना हुआ सस्ता, चांदी की कीमत में भी आई गिरावट... धन बाजार में देखिए खबरें और भी
Business News: सोना हुआ सस्ता, चांदी की कीमत में भी आई गिरावट... धन बाजार में देखिए खबरें और भी
দুৰ্গা পূজাৰ বাবে যুদ্ধকালিন প্ৰস্তুতি, মৰাণত চাহ বাগিচা অঞ্চলৰ পৰা চহৰলৈকে অনুষ্ঠিত ৩৭ খন পূজা
দুৰ্গা পূজাৰ বাবে যুদ্ধকালিন প্ৰস্তুতি, মৰাণত চাহ বাগিচা অঞ্চলৰ পৰা চহৰলৈকে অনুষ্ঠিত ৩৭ খন পূজা