ये बात किसी से छुपी नही हैं कि इजराइल और हमास के बीच घमासान युद्ध चल रहा है। इस जंग में हमास के आतंकी हमलों ने काफी लोगों का नुकसान किया है। मगर क्या इसकी वजह से टेलीकॉम कंपनियां भी प्रभावित हो रही है? आज हम इसी के बारे में बात करने जा रहे हैं। आइये इसके बारे में विस्तार से जानते हैं।
जैसा कि हम जानते हैं कि इजराइल-फिलिस्तीन युद्ध काफी लोगों को प्रभावित कर रहा है। इसमें कई टेक कंपनियां, जैसे मेटा, एक्स और गूगल भी चपेट में आएं है, क्योंकि ईयू ने अपने प्लेटफॉर्म पर हमास को सपोर्ट करने वाले कंटेंट को हटाने की बात कही है। मगर क्या आपने कभी सोचा है कि इस जंग का असर टेलीकॉम कंपनियों पर भी दिखाई दे रहा है।
जी हां इस युद्ध के चलते अपने 5G फुटप्रिंट का विस्तार करने में दूरसंचार कंपनियों को समस्या हो सकती है। फिलिस्तीनी आतंकवादी ग्रुप हमास के साथ इजरायल के युद्ध के बढ़ने के कारण 5जी नेटवर्क गियर की लागत बढ़ सकती है।
नई मीडिया रिपोर्ट सामने आई है कि टेलीकॉम इंडस्ट्री के अधिकारियों, बैंकर्स और एनालिस्ट के मुताबिक शुरुआत में लागत 2,000-2,500 करोड़ रुपये तक बढ़ सकती है और भारत के टॉप दूरसंचार कंपनियों द्वारा अगली पीढ़ी के नेटवर्क के रोल-आउट की स्पीड भी इस कारण धीमी हो सकती है।
टेलीकॉम इंडस्ट्री पर पड़ेगा प्रभाव
रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि यह बड़ी, लंबे समय तक चलने वाले संघर्ष के कारण शुरू में अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपये में लगभग 3-4% की गिरावट ला सकता है।
बता दें कि इससे टेलीकॉम कंपनियों की विदेशी ऋण चुकाने की लागत में भी बढ़ोतरी हो सकती है। साथ ही आने वाली तिमाहियों में कंपनी की कमाई पर भी प्रभाव पड़ेगा ।
डॉलर की कीमत बढ़ने से होगा नुकसान
जैसा कि हम जानते हैं कि इजरायल-हमास युद्ध के कारण अभी तक अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपये में भारी गिरावट नहीं आई है, लेकिन अगर यह बढ़ता है तो इसमें कुछ अस्थिरता हो सकती है और रुपये में से 3-4% की गिरावट आ सकती है।