Teesta Setalvad: जब भी गुजरात दंगे की बात आती है, तो इसके इर्द-गिर्द कई नाम मिलते हैं। इनमें एक नाम है तीस्ता सीतलवाड़ का। तीस्ता सीतलवाड़ की पहचान एक एनजीओ संचालिका के तौर पर होती है, लेकिन इनका गुजरात दंगों से क्या कनेक्शन है।

कौन हैं तीस्ता सीतलवाड़?

तीस्ता सीतलवाड़ का जन्म महाराष्ट्र में हुआ। उनका जन्म 09 फरवरी 1962 को हुआ था। उनका पालन पोषण मुंबई में हुआ। उन्होंने अपनी ग्रेजुएशन तक की पढ़ाई मुंबई विश्वविद्यालय से पूरी की। तीस्ता सीतलवाड़ के पिता का नाम अतुल सीतलवाड़ है, जो एक वकील थे। उनके दादा का नाम एमसी सीतलवाड़ है। एमसी सीतलवाड़ देश के पहले अटॉर्नी जनरल बने थे। अटॉर्नी जनरल भारत सरकार के कानूनी सलाहकार होता है।

तीस्ता सीतलवाड़ कानून की पढ़ाई के लिए एडमिशन लिया, लेकिन उन्होंने बीच में ही कानून की पढ़ाई छोड़ दी और अपना कदम पत्रकारिता की ओर बढ़ाई। उन्होंने एक रिपोर्टर के रूप में कई अखबारों में काम किया। इसके बाद उनकी शादी पत्रकार जावेद आनंद से हुई।

तीस्ता सीतलवाड़ पत्रकारिता के बाद एक एनसीओ की शुरुआत की। उन्होंने कुछ लोगों के साथ 'सिटीजन्स फॉर जस्टिस एंड पीस' नाम से एनजीओ की स्थापना की। तीस्ता सीतलवाड़ को 2002 में राजीव गांधी राष्ट्रीय सद्भावना पुरस्कार और 2007 में पद्मश्री पुरस्कार मिला था।

गुजरात दंगे से तीस्ता सीतलवाड़ का क्या है कनेक्शन?

तीस्ता सीतलवाड़ गुजरात दंगों के पीड़ितों के लिए लड़ाई लड़ने का दावा करती है। तीस्ता सीतलवाड़ के एनजीओ सिटिजन फॉर जस्टिस एंड पीस (सीजेपी) गुजरात दंगे को लेकर सुप्रीम कोर्ट में दायर की गई याचिका में सह-याचिकाकर्ता बना था। इस याचिका में गुजरात के तत्कालीन सीएम नरेन्द्र मोदी सहित अन्य 62 अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की गई थी।

तीस्ता सीतलवाड़ की क्यों हुई थी गिरफ्तारी?

तीस्ता सीतलवाड़ के ऊपर कई आरोप लगे हैं। गुजरात दंगों से जुड़े मामलों में उनपर सबूत से छेड़छाड़ करने का आरोप है। तीस्ता सीतलवाड़ को गुजरात दंगों के मामले में कथित तौर पर सबूत बनाने के लिए गिरफ्तार किया था। सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले पर सुनवाई करते हुए कहा था कि तीस्ता के खिलाफ गहन जांच होनी चाहिए, इस टिप्पणी के बाद तीस्ता की गिरफ्तारी हुई थी।

तीस्ता पर विदेशी फंडिंग जुटाने का आरोप

तीस्ता सीतलवाड़ पर विदेशों से आए हुए पैसों का दुरुपयोग करने का आरोप है। इस मामले में 2013 में अहमदाबाद की गुलबर्ग सोसाइटी के 12 लोगों ने उनके खिलाफ जांच की मांग की थी। उस वक्त आरोप लगाया गया था कि इस सोसाइटी में म्यूजियम बनाने के लिए विदेश से उन्हें डेढ़ करोड़ रुपये मिले थे, जिसका उन्होंने गलत इस्तेमाल किया

तीस्ता सीतलवाड़ के एनजीओ पर क्यों है विवाद?

गुजरात दंगों में कई लोगों की मौत हुई थी, इन्हीं में शामिल था जकिया जाफरी के पति। पति के मौत के बाद जकिया जाफरी ने कानूनी लड़ाई लड़ना शुरू किया, तो उसे तीस्ता सीतलवाड़ के एनजीओ सीजेपी ने समर्थन दिया। इसके बाद उनपर सबूतों को बनाने के आरोप लगे। उनपर विदेशी फंडिंग का खुलासा तो उनके पूर्व सहयोगी रईस खान पठान ने ही किया था।