कर्नाटक विधानसभा चुनाव के लिए कांग्रेस के घोषणापत्र में बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाने के वादे को लेकर मध्य प्रदेश में भी जुबानी जंग छिड़ गई है। इधर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कांग्रेस के राज्य प्रमुख कमलनाथ की हनुमान भक्ति पर सवाल उठा दिया है।

हनुमान भक्ति को लेकर मांगा जवाब

सीएम शिवराज सिंह चौहान ने घोषणापत्र को लेकर कांग्रेस पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा,''कांग्रेस उस बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाने की बात कर रही है, जो कट्टर राष्ट्रवादी संगठन है, आतंकवाद और लव जिहाद का विरोध करता है।

जो संगठन देशभक्ति की भावना पैदा करता है, समाज सेवा में शामिल होता है, स्वाभिमान और अपने धर्म और संस्कृति के प्रति जागरूकता के लिए काम करता है। कांग्रेस पार्टी ने ऐसे संगठन की तुलना PFI जैसे आतंकवादी संगठन के साथ की है?

सीएम शिवराज सिंह चौहान ने हनुमान की भक्ति पर कमलनाथ से जवाब मांगते हुए कहा, “कोई भी उन लोगों को नहीं भूलेगा जो मध्य प्रदेश में स्टूडेंट्स इस्लामिक मूवमेंट ऑफ इंडिया (SIMI) को समर्थन कर रहे हैं। सर्जिकल स्ट्राइक का विरोध करने वाले और आतंकवादियों का महिमामंडन करने वाले अब बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाने की बात कर रहे हैं।”

नरोत्तम मिश्रा ने कमलनाथ को लिखा पत्र

मध्य प्रदेश के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि उन्होंने 3 मई को कांग्रेस नेता कमलनाथ को एक पत्र लिखा है। उन्होंने ये भी कहा कि मैंने कमलनाथ के कई ट्वीट भी देखे हैं जिनमें वे खुद को हनुमान भक्त बताते हैं। वहीं पार्टी की तरफ से कर्नाटक में जो घोषणापत्र जारी किया गया है, उसमें उन्होंने बजरंग दल की तुलना पीएफआई से की है। अब ऐसे में कमलनाथ को स्पष्ट करना चहिए कि क्या वो भी घोषणा पत्र के साथ हैं या नहीं।

नरोत्तम मिश्रा ने ये भी आरोप लगाया कि कांग्रेस की तुष्टिकरण की इस राजनीति से राष्ट्रभक्तों और राम व हनुमान भक्तों की भावनाएं आहत हुई हैं।

गौरतलब है कि कांग्रेस की तरफ से कर्नाटक चुनाव के लिए अपने चुनावी घोषणापत्र में कहा गया कि सत्ता में आने पर बजरंग दल और पीएफआई जैसे संगठनों पर प्रतिबंध लगाया जाएगा। साथ ही आरोप भी लगाया गया कि ये संगठन समुदायों के बीच दुश्मनी को बढ़ावा दे रहे हैं।