आगरा: शाहगंज के अस्पताल में हादसे में तीन लोगों की मौत होने के बाद स्वास्थ्य विभाग नींद से जाग गया है। गुरुवार को स्वास्थ्य विभाग ने बेसमेंट में चल रहे हॉस्पिटलों पर सीलिंग की कार्रवाई की खबर लिखे जाने तक आधा दर्जन हॉस्पिटल सील कर दिए गए थे

जगनेर रोड पर आर मधुराज हॉस्पिटल में आग लगने पर संचालक सहित उनके बेटे और बेटी की मौत हो गई थी। डिप्टी सीएम बृजेश पाठक ने बिना फायर की एनओसी के चल रहे अस्पतालों पर कार्यवाही के निर्देश दिए हैं। स्वास्थ्य विभाग की टीम ने यमुनापार स्थित चैतन्य हास्पिटल, राधारानी हास्पिटल, मंगलम हास्पिटल और संगम हास्पिटल को सील कर दिया। मरीजों को दूसरे हास्पिटलों में भर्ती कराया जा रहा है। धनौली क्षेत्र में रघुवंशी हास्पिटल में संचालक ने मरीज को हास्पिटल में ही कैद कर दिया। एसीएमओ ने दरवाजा खुलवाकर मरीज को बाहर निकलवाया। खबर लिखे जाने तक स्वास्थ्य विभाग की कार्रवाई जारी थी। बताया यह भी जा रहा है कि अगस्त महीने में अग्निशमन विभाग ने सीएमओ को 52 हॉस्पिटलों की सूची भेजी थी। यह हॉस्पिटल बिना एनओसी के चल रहे थे। फिर भी सीएमओ ने उन पर कार्रवाई नहीं की।