जिले के ग्राम,ब्लाॅक, व कृषकों के चयन के अनुमोदन हेतु जिला हाॅर्टीकल्चर डवलपमेंट सोसायटी की बैठक जिला कलक्टर अक्षय गोदारा की अध्यक्षता में शुक्रवार को आयोजित की गई।

 इस दौरान जिला कलेक्टर ने संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए कि गांव और किसानों का चयन प्रकिया में पारदर्शिता एवं राज्य सरकार द्वारा निर्धारित मापदंडों की नियमानुसार ही कार्यवाही होनी चाहिए। 

उन्होंने निर्देश दिए कि चयन प्रक्रिया में कृषि के लिए पानी,मिट्टी की गुणवत्ता का अनुसंधान करते हुए गांवों की सूची तैयार करें।

उन्होंने कहा कि यह योजना किसानों को उच्च तकनीकी सुविधाओं से जोड़ने और उनकी उत्पादकता को बढ़ाने में मददगार साबित होगी। इसके लिए बेहतर कार्ययोजना बनाएं। 

उद्यान विभाग उपनिदेशक राधेश्याम मीणा ने बताया कि उच्च तकनीकी उद्यानिकी माॅडल कलस्टर (एचएचएमसी) के प्राप्त दिशा-निर्देशों द्वारा राज्य में उद्यानिकी फसलों में उच्च तकनीकी को कलस्टर आधारित बढ़ावा देकर जिला एवं संभाग के अन्य कृषकों के लिए आदर्श रूप स्थापित करने के उद्वेश्य से राज्य के बजट 2024-25 में उच्च तकनीकी उद्यानिकी माॅडल कलस्टर (एचएचएमसी) विकसित करने को प्रोत्साहित करने की द्योषणा की गई है।

उद्यान उपनिदेशक ने बताया कि उच्च तकनीकी उद्यानिकी मॉडल क्लस्टर योजना किसानों को आर्थिक रूप से मज़बूत बनाने के लिए शुरू की गई है। इस योजना के तहत किसानों को उच्च तकनीकी सुविधाएं दी जाती हैं, जिससे उनकी उत्पादकता बढ़ती है। 

इस योजना के तहत ग्रीनहाउस, पॉलीहाउस, शेडनेट हाउस, प्लास्टिक मल्चिंग, लो-टनल, फ़ार्म पौंड, ड्रिप या स्प्रिंकलर जैसी सुविधाएं दी जाती हैं, इन सुविधाओं के लिए किसानों को अनुदान और प्रशिक्षण भी दिया जाता है। 

*30 कृषकों का होगा चयन*

उन्होंने बताया कि जिले में उच्च तकनीकी उद्यानिकी मॉडल क्लस्टर में 30 कृषकों का चयन किया जाना है। इच्छुक कृषकों की संख्या 30 से अधिक होने पर कृषकों का चयन कमेटी की ओर से मौके पर लॉटरी या रेण्डोमाईजेशन प्रक्रिया से किया जाएगा। चयनित कृषक को ग्रीनहाउस या शेडनेट हाउस पर 2000 वर्गमीटर निर्धारित सीमा पर अनुदान देय है।

इस दौरान बैठक में नाबार्ड जिला विकास प्रबंधक राजकुमार , सब्जी उत्कृष्टता केंद्र उपनिदेशक दुर्गालाल मौर्य, रामसिंह चौधरी, कमल सिंह, दिनेश कुमार, महेंद्र मीणा सहित अन्य अधिकारी मौजूद रहे।