अशोक गहलोत सरकार ने पुरानी पेंशन योजना (OPS) शुरू की थी. अब भजनलाल सरकार OPS बंद करने पर विचार कर रही है. कर्मचारी संगठनों ने विरोध-प्रदर्शन शुरू किया. विभाग के अधिकारियों को ज्ञापन देकर इस योजना को सुचारू रूप से चलाए रखने की मांग की. कर्मचारी संगठनों ने कहा कि OPS को बंद करने पर आंदोलन तेज होगा. राजस्थान की भजनलाल सरकार अगर इस योजना को बंद करने का निर्णय लेती है तो ये फैसला कर्मचारी हितों में नहीं होगा. कर्मचारियों ने यह भी बताया कि विद्युत विभाग के कर्मचारियों को पिछले 9 महीने से इस योजना का लाभ नहीं मिल रहा है. भाजपा सरकार अब बजट में पुरानी पेंशन योजन बंद करने का विचार कर रही है. केंद्र की भाजपा सरकार भी ओपीएस जारी रखने के पक्ष में नहीं है. केन्द्रीय वित्त मंत्रालय, नीति आयोग और वित्त आयोग की रिपोर्ट भी ओपीएस के पक्ष में नहीं है. कांग्रेस सरकार राजस्थान के बाद छत्तीसगढ़, झारखंड, पंजाब, दिल्ली और हिमाचल प्रदेश ने OPS शुरू की थी. भाजपा शासित किसी भी राज्य में ओपीएस नहीं लागू है. गहलोत सरकार ने 1 अप्रैल-2004 के बाद सरकारी सेवा में आए अधिकारियों-कर्मचारियों को पहले की तरह पेंशन लाभ देने के लिए योजना शुरू की थी. नई पेंशन स्कीम में रिटायरमेंट के बाद प्रतिमाह पेंशन राशि मिलने का प्रावधान नहीं था.

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ओम धगाल - पूर्व प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य भाजपा युवा मोर्चा

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