राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने किसानों की जमीन नीलाम किए जाने को लेकर भजनलाल सरकार पर जमकर हमला बोला है। दरअसल, हनुमानगढ़ सहकारी बैंक ने किसानों की जमीन की नीलामी को लेकर विज्ञापन दिया है। जिसके बाद गहलोत ने अपने सोशल मीडिया हैंडल से पोस्ट करते हुए मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा से किसानों की भूमि की नीलामी रोकने व आगे नीलामी ना हो सके, इसके पुख्ता इंतजाम करने की अपील की है। पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने X प्लेटफॉर्म पर पोस्ट करते हुए लिखा कि नवंबर 2020 में हमारी सरकार ने विधानसभा से बिल पास कर प्रावधान किया था कि किसानों की 5 एकड़ कृषि भूमि नीलाम नहीं होगी। राज्यपाल महोदय ने यह बिल केन्द्र सरकार से अनुमोदन के लिए भेज दिया था परन्तु अभी तक इसे केन्द्र सरकार से अनुमोदन नहीं मिला है। इसी वजह से 20 जनवरी 2022 को हमारी सरकार ने प्रशासनिक आदेश के माध्यम से उस समय कुछ बैंकों द्वारा शुरू की गई कृषि भूमि नीलामी पर रोक लगाई थी। पूर्व सीएम ने कहा कि मुख्यमंत्री भजनलाल जी को नवंबर 2020 को विधानसभा में पारित हुए बिल का अविलंब केन्द्र सरकार से अनुमोदन करवाना चाहिए जिससे किसानों को राहत मिल सके।राजस्थान के हनुमानगढ़ जिले के अखबारों में किसानों की जमीन नीलाम करने के लिए छपे ये विज्ञापन मोदी की गारंटीकी सच्चाई उजागर कर रहे हैं। भाजपा ने राजस्थान में अपने घोषणा पत्र के पेज संख्या 42 पर वादा किया था कि किसानों की जमीन नीलामी रोकना सुनिश्चित करने की बात कही थी परन्तु राजस्थान में किसानों की जमीन नीलामी की जा रही है। गहलोत ने आगे कहा कि इस किसान विरोधी भाजपा सरकार ने झूठे वादे कर सरकार बना ली पर इन्हें किसानों की कोई परवाह नहीं है। हमारी सरकार ने कृषि ऋण राहत आयोग बनाया था पर नई सरकार ने उसे भी क्रियाशील नहीं किया है।मैं मुख्यमंत्री जी से कहना चाहता हूं कि अविलम्ब आदेश देकर किसानों की भूमि की नीलामी रोककर किसानों को राहत दी जाए और आगे नीलामी ना हो सके इसके पुख्ता इंतजाम हों।

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