*पुलिस कॉन्फ्रेंस हॉल पन्ना में “महिला एवं बच्चो के विरुद्घ घटित अपराधो मे अनुसंधान एवं कौशल उन्नयन“ पर आयोजित किया गया एक दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम* 

आज दिनाँक- 09/07/2023 को पुलिस मुख्यालय के निर्देशानुसार पुलिस अधीक्षक पन्ना धर्मराज मीना के मार्गदर्शन मे महिला व बाल अपराधों में त्वरित कार्यवाही व इन प्रकरणों में विभिन्न प्रावधानों, तकनीकों और वैज्ञानिक साक्ष्यों का उपयोग कर, विवेचना को और बेहतर व गुणात्मक तरीके से करते हुए, अपराधियों के विरूद्ध प्रभावी व कड़ी कार्यवाही की जा सके इसी उद्देश्य को ध्यान मे रखते हुए पन्ना पुलिस के अधिकारियों के लिए एक दिवसीय कौशल उन्नयन प्रशिक्षण कार्यशाला का आयोजन पुलिस कान्फ्रेंस हाल पन्ना में किया गया ।

                प्रशिक्षण के दौरान सहायक *जिला अभियोजन अधिकारी रोहित गुप्ता* द्वारा महिला संबंधी अपराधों में f.i.r. लेखन एवं अनुसंधान में किन बातों का ध्यान रखें आदि के बारे में बताया गय़ा, एवं सहायक *जिला अभियोजन अधिकारी दिनेश खरे* द्वारा "पाक्सो एक्ट" (लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012), पर विस्तृत चर्चा कर प्रशिक्षण प्रदाय किया गया ।जिसमे बताया गया कि आखिर क्यो इस एक्ट को लागू करने की आवश्यकता पङी । यह 0 से लेकर 18 वर्ष तक के बच्चो की देखरेख एवं संरक्षण प्रदान करने वाला एक विशेष एक्ट है । प्रशिक्षण के दौरान यह बताया गया की लैंगिक शोषण क्या है । अगर किसी बच्चे या बच्ची के साथ लैंगिक शोषण की घटना घटित होती है तब पुलिस की क्या भूमिका होगी । इस प्रकार के मामलों मे बच्चों की पहचान को गुप्त रखना होगा, पुलिस अधिकारी सिविल ड्रेस मे ही बच्चो से बात करेंगें, एफआईआऱ पब्लिक नही की जावेगी आदि प्रमुख बिन्दुओं पर जानकारी प्रदाय की गई । काउन्सलर जन साहस छतरपुर द्वारा महिला अपराधों पीङिता/ साक्षी से अपराधों के अनुसंधान के दौरान किए जाने वाले व्यवहार/ संवेदनशीलता पर चर्चा की गई । प्रशिक्षण के दौरान उप0पुलिस अधी0 जेड0वाई0 खान द्वारा महिला डेस्क के कार्य उनके दायित्व, SOP रेफरल फाम के बारे मे विस्तृत जानकारी दी गई। उन्होने बताया कि URJA DESK का मतलव है कि URJENT RELIEF AND JUST ACTION अर्थात यदि कोई महिला पीङिता थाने पर आती है तो महिला डेस्क उसकी हर संभव मदद करेगी। महिला को आवश्यक सेल्टर, आवश्यक कानूनी कार्यवाही, आवश्यक मेडीकल सहायता, विधिक सहायता आदि अन्य विभागों को समन्वय कर प्रदाय कराया जाऐगा, साथ ही महिला तथा बालिकाओं के बीच महिला अपराध एवं कानून संबधी जागरूकता कार्यक्रम भी महिला डेस्क द्वारा संचालित किए जाते है । SDOP गुनौर पीयूष मिश्रा द्वारा अनुसंधान मे पाई जाने वाली त्रुटियाँ/ दोषमुक्ति के कारण के संबध मे विस्तृत प्रकाश डाला गया, इसी प्रकार प्रशिक्षण के दौरान निरी0 अरूण कुमार सोनी द्वारा केस स्टडी/ गुड प्रेक्टिस की जानकारी दी गई ।

         इस अवसर पर *पुलिस अधीक्षक पन्ना धर्मराज मीना* ने कहा कि महिलाओं एवं बच्चों के विरुद्ध होने वाले अपराधों को प्राथमिकता से लेते हुए हमें संवेदनशीलता एवं मानवीय पहलुओं का ध्यान रखते हुए सहानुभूति पूर्वक व्यवहार प्रदर्शित करना चाहिए। 

        उक्त प्रशिक्षण मे पन्ना जिले के समस्त अनुविभागीय अधिकारी (पुलिस), थाना प्रभारी, विभिन्न स्थानों पर पदस्थ ऊर्जा डेस्क प्रभारी एवं संबंधित स्टाफ को अतिथियों सहायक जिला अभियोजन अधिकारी रोहित गुप्ता, सहायक जिला लोक अभियोजन अधिकारी दिनेश खरें, काउन्सलर जन साहस छतरपुर शिवचरण, उप पुलिस अधीक्षक महिला सुरक्षा शाखा जे.वाई. खान ,SDOP गुनौर पीयूष मिश्रा एवं निरीक्षक अरूण सोनी द्वारा महिला एवं बाल अपराधों में बेहतर अनुसंधान में विभिन्न प्रावधानों, नई तकनीको एवं विभिन्न साक्ष्यों का किस प्रकार से बेहतर उपयोग कर कार्यवाही की जाए इस संबंध में जानकारी दी गई। उक्त प्रशिक्षण कार्यशाला में आए अतिथि विशेषज्ञों द्वारा सभी को महिला अपराधों एवं उनकी सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए विभिन्न बारीकियों से अवगत करवाया गया ।            

 उक्त कार्यक्रम मे पुलिस अधीक्षक पन्ना धर्मराज मीना, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक पन्ना श्री मति आरती सिंह, उप0पुलिस अधी0 जेड0वाई0 खान, SDOP पन्ना राजेंद्र मोहन दुबे , SDOP गुनौर पीयूष मिश्रा, SDOP अजयगढ़ कल्याणी वरकड़े, रक्षित निरीक्षक खिलावन सिंह कंवर एवं पन्ना जिले के समस्त थानो से आऐ हुए लगभग 50 अधिकारी/ कर्मचारी उपस्थित रहे ।