नई दिल्ली, भारत 4 मई से गोवा में दो दिवसीय सम्मेलन में शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) देशों के विदेश मंत्रियों की मेजबानी करेगा। विदेश मंत्री एस जयशंकर की अध्यक्षता में होने वाली इस बैठक में चीनी विदेश मंत्री किन गैंग, रूस के सर्गेई लावरोव और पाकिस्तान के बिलावल भुट्टो-जरदारी शामिल होंगे। हालांकि, एससीओ सम्मेलन के मौके पर जयशंकर और भुट्टो-जरदारी के बीच द्विपक्षीय बैठक होगी या नहीं, इस पर भी सवाल खड़ा हो रहा है।
बता दें कि भारत एससीओ देशों के बीच एक प्रमुख खिलाड़ी के रूप में उभर रहा है। इसी को देखते हुए नई दिल्ली को एससीओ में विशिष्ट स्थान दिया गया है क्योंकि यह चार देशों के गठबंधन क्वाड का सदस्य भी है। क्वाड के अन्य सदस्य अमेरिका, जापान और ऑस्ट्रेलिया हैं। वहीं, रूस और चीन दोनों क्वाड की गंभीर आलोचना करते रहे हैं।
इन मुद्दों पर चर्चा होने की उम्मीद
अफगानिस्तान में समग्र स्थिति के साथ-साथ तेजी से विकसित हो रही क्षेत्रीय सुरक्षा स्थिति पर भी चर्चा होने की उम्मीद है। साथ ही आतंकवाद की चुनौतियों के साथ-साथ यूक्रेन में युद्ध के प्रभावों से निपटने पर भी चर्चा की जाएगी।
SCO की स्थापना
एससीओ (SCO) की स्थापना 2001 में रूस, चीन, किर्गिज गणराज्य, कजाकिस्तान, ताजिकिस्तान और उज्बेकिस्तान के राष्ट्रपतियों द्वारा शंघाई में एक शिखर सम्मेलन में की गई थी। भारत और पाकिस्तान 2017 में इसके स्थायी सदस्य बने।