कनाडा के मंत्री की ओर से केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के खिलाफ लगाए गए आरोपों को लेकर भारत ने नाराजगी जताई है। भारत ने कनाडाई अधिकारी को तलब किया है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा कि हमने कल कनाडाई उच्चायोग के प्रतिनिधि को तलब किया। भारत सरकार कनाडा सरकार में मंत्री डेविड मॉरिसन की ओर से समिति के समक्ष भारत के केंद्रीय गृह मंत्री के बारे में किए गए बेतुके और निराधार आरोपों का सबसे कड़े शब्दों में विरोध करती है। उन्होंने कहा, 'यह पहले ही साफ हो चुका है कि उच्च कनाडाई अधिकारी जानबूझकर भारत को बदनाम करने और अन्य देशों को प्रभावित करने की एक सचेत रणनीति के तहत अंतरराष्ट्रीय मीडिया को निराधार आरोप लीक करते हैं। इससे वह दृष्टिकोण साबित होता है, जो भारत सरकार ने वर्तमान कनाडाई सरकार के राजनीतिक एजेंडे और व्यवहार पैटर्न के बारे में लंबे समय से रखा है। इस तरह की गैरजिम्मेदाराना हरकतों के द्विपक्षीय संबंधों पर गंभीर परिणाम होंगे। कुछ भारतीय कंपनियों पर अमेरिकी प्रतिबंधों पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि 19 भारतीय कंपनियों के प्रतिबंध के बारे में हमने अमेरिकी रिपोर्ट देखी हैं। भारत के पास रणनीतिक व्यापार पर एक मजबूत कानूनी और नियामक ढांचा है। हम तीन प्रमुख बहुपक्षीय अप्रसार निर्यात नियंत्रण व्यवस्थाओं वासिनार व्यवस्था, ऑस्ट्रेलिया समूह और मिसाइल प्रौद्योगिकी नियंत्रण व्यवस्था के सदस्य भी हैं। अप्रसार पर प्रासंगिक यूएनएससी प्रतिबंधों और यूएनएससी संकल्प 1540 को प्रभावी ढंग से लागू कर रहे हैं। उन्होंने कहा, 'हमारी समझ यह है कि प्रतिबंध, लेन-देन और कंपनियां भारतीय कानूनों का उल्लंघन नहीं करती हैं। फिर भी भारत की स्थापित अप्रसार साख को ध्यान में रखते हुए हम सभी प्रासंगिक भारतीय विभागों और एजेंसियों के साथ मिलकर काम कर रहे हैं। हम भारतीय कंपनियों को लागू निर्यात नियंत्रण प्रावधानों के बारे में जागरूक करने और उन्हें लागू किए जा रहे ऐसे नए उपायों के बारे में बताने के लिए काम कर रहे हैं, जो कुछ परिस्थितियों में भारतीय कंपनियों को प्रभावित कर सकते हैं।'