अफिनिटी हॉस्पिटल की ओर से जन जागृति अभियान के दौरान लोगों को मानसिक रोगों के प्रति लगातार जागरुक किया जा रहा है। रविवार को अफिनिटी हॉस्पिटल, तलवंडी चौराहा द्वारा बच्चों में पढ़ने या लिखने से संबंधित होने वाली परेशानियों के विषय पर एक कार्यशाला का आयोजन किया गया। आयोजित कार्यशाला में डॉ. नीना विजयवर्गीय, मनोचिकित्सक एवं काउंसलर, एमबीबीएस, डीपीएम (साइकेट्री), एमआईपीएस द्वारा मानसिक विकारों जो बच्चों में पढ़ने व लिखने की समस्या के लिए जिम्मेदार होते हैं, इनके लक्षण, संभावित कारण, इनसे जुड़ी भ्रांतियां व तथ्य, निवारण, उपचार के उपाय आदि के बारे में विस्तारपूर्वक बताया गया।
लर्निंग डिसेबिलिटी (LD) एक ऐसा विकार है जो पढ़ने, लिखने और गणना करने जैसे शैक्षणिक कौशल प्राप्त करने और उनका उपयोग करने की क्षमता को प्रभावित करता है। यह छोटे बच्चों में हो सकता है लेकिन आमतौर पर तब तक पहचाना नहीं जाता जब तक कि बच्चा स्कूल जाने की उम्र तक नहीं पहुंच जाता। भारत में यह बहुत आम है, किसी भी कक्षा में एलडी वाले कम से कम चार बच्चे होते हैं। सीखने की अक्षमताएँ हर व्यक्ति में अलग-अलग होती हैं और कई तरह से सामने आ सकती हैं जैसे लिखने में कठिनाई, गणना करने में दिक्कत, पढ़ने में परेशानी, भाषा के उपयोग में कठिनाई आदि। इसके कारणों में आनुवांशिकी, पारिवारिक इतिहास, जन्म से पहले या दौरान कोई जोखिम भरी घटना, दिमाग में रसायनिक परिवर्तन आदि शामिल हैं। इन विकारों की पहचान के लिए कुछ मानसिक और शारीरिक जांचें होती हैं, जिनके बाद उपचार शुरू किया जा सकता है जिसमें दवाईयां, मनोचिकित्सा, विशेष शिक्षा प्रणाली आदि शामिल हैं।
इस कार्यशाला के दौरान काउंसलर व विषय विशेषज्ञ चिकित्सकों की टीम द्वारा जानकारी प्रदान की गई कि सीखने में कमज़ोर बच्चों की मदद कैसे करें और अभिभावक इसके लिए किस प्रकार कार्य कर सकते हैं। इस कार्यशाला का लाभ हॉस्पिटल में उपस्थित मरीज़, उनके परिजन, आमजन और हॉस्पिटल स्टॉफ ने उठाया।
अफिनिटी हॉस्पिटल की तरफ से आमजन की मदद के लिए एक टॉल फ्री नंबर (18008906996) भी जारी किया गया है, साथ ही हॉस्पिटल से संपर्क करने के लिए 6350180497 या 8005649782 पर कॉल किया जा सकता है।