संजीवनी घोटाले में हाईकोर्ट से क्लीन चिट मिलने के बाद केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत और पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत में आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो गया है. गुरुवार को पूर्व सीएम अशोक गहलोत ने सोशल मीडिया पोस्ट में कहा था कि इस मामले में भाजपा सरकार के दवाब में एसओजी ने कोर्ट में यू-टर्न ले लिया. सरकारी वकीलों ने भी केंद्रीय मंत्री का पक्ष लिया. इसलिए गजेंद्र सिंह शेखावत को क्लीन चिट मिली. गहलोत की प्रतिक्रिया पर अब केंद्रीय संस्कृति एवं पर्यटन मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत की प्रतिक्रिया सामने आई है. शेखावत ने पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पर पलटवार करते हुए कहा कि संजीवनी क्रेडिट को-ऑपरेटिव सोसाइटी के पीड़ितों को न्याय दिलाने की नीयत पूर्व मुख्यमंत्री की कभी नहीं रही. वो पहले भी इस मामले में राजनीति कर रहे थे और आज भी वही कर रहे हैं. अशोक गहलोत के बारे में गजेंद्र सिंह शेखावत ने आगे कहा कि अब जब मानहानि में खुद को फंसता देख रहे हैं तो उन्हें मेरी दिवंगत मां का सम्मान भी याद आ रहा है. पूर्व मुख्यमंत्री के सोशल मीडिया पोस्ट पर प्रतिक्रिया देते हुए शेखावत ने कहा कि संजीवनी प्रकरण में हाईकोर्ट से मुझे मिली क्लीन चिट से अशोक गहलोत व्यथित हो उठे हैं. जब तक वो सत्ता में थे, सरकार के संसाधनों का दुरुपयोग कर मुझे फंसाने की कोशिशें करते रहे. मुझे फंसाने के लिए वकीलों पर सरकारी कोष से 40 करोड़ रुपए खर्च कर दिए. केंद्रीय मंत्री ने आगे कहा कि बड़े आश्चर्य की बात है कि अब उन्हें मेरी दिवंगत मां के सम्मान की याद आ रही है. जब उन्होंने मेरी दिवंगत मां को लेकर अनर्गल बयानबाजी की थी, तब क्यों उनके मन में ऐसा सम्मान नहीं आया. अब जब कोर्ट में उनके खिलाफ मानहानि का केस और मजबूत हो गया है तो उन्हें कानून का डर सता रहा है.