राजस्थान के सबसे बड़े (लंबाई में) बांध माही बजाज सागर के 4 गेट खोले गए। बांध से 25 हजार क्यूसेक पानी छोड़ा जा रहा है। गेट खोलने से एक घंटा पहले मंगलवार दोपहर 3 बजे सायरन बजाकर अलर्ट किया गया। शाम 4.26 बजे गेट खोले गए।एईएन पीयूष पाटीदार ने बताया कि बांसवाड़ा जिले के माही डैम के1,2,15 और 16 नंबर के गेट को 1-1 मीटर खोला गया है। सबसे पहले 1 नंबर गेट खुला, इसके बाद 16 नंबर, फिर 2 और 15 नंबर गेट खोला गया। डैम के ऊपर बने कंट्रोल पैनल रूम में 4 अधिकारियों ने एक साथ बटन दबाकर गेट खोले। एईएन ने बताया कि गेट खोले जाने से पहले माही डैम के ऊपर बने माही माता मंदिर में पूजा की गई। माता का आशीर्वाद हर बार गेट खोलने से पहले लिया जाता है। माही परियोजना के एक्सईएन प्रकाश चंद्र रैगर ने बताया कि डैम के गेट खोलने से पहले सायरन बजाना जरूरी होता है। एक सायरन माही डैम पर है। दूसरा 60 किलोमीटर दूर बेणेश्वर के संगम पर है और तीसरा 35 किलोमीटर दूर पीपलखूंट में है। सभी का कंट्रोल माही डैम से ही है। तीनों जगह के सायरन के बटन यहीं से दबाए गए थे। पहला साइरन माही डैम पर 3 बजे बजाया गया था। इसके बाद 3.30 बजे और फिर 3.45 बजे सायरन बजाया गया था। फाइनल सायरन 4.10 बजे बजाया गया था। बांसवाड़ा और उदयपुर संभाग के सबसे बड़े माही बजाज सागर बांध का जलस्तर 280.40 तक पहुंच चुका है। इसकी भराव क्षमता 281.50 मीटर है। बांध में बारिश के साथ मध्य प्रदेश से पानी की आवक लगातार जारी है। इसी पानी को रिलीज किया जा रहा है। बांध में 1000 क्यूसेक पानी की लगातार आवक हो रही है। ऐसे में जल संसाधन विभाग, राजस्थान माही बांध परियोजना ने गेट खोलने का फैसला किया। गेट खोलने को लेकर प्रशासन की ओर से लोगों को अलर्ट किया गया है। बताया गया है कि वे नदी के आस-पास नहीं जाए।