एसपी अमृता दुहन ने बताया- 8 अगस्त को गोविंद, विपिन, अमित और दो अन्य गुटखा फैक्ट्री रोड नंबर पांच से अनंतपुरा घर की तरफ जा रहे थे। रात करीब नौ बजे ऑटो मोबाइल जोन से वह निकल रहे थे। इस दौरान बाइक पर दो बदमाश मुंह पर मास्क लगाकर आए। उन्होंने गोविंद को पकड़ा और उसकी जेब से रुपए निकालने लगे। गोविंद ने युवक को पकड़ा तो उसने चाकू निकालकर हमला कर दिया। गोविंद के साथ के युवकों ने बचाने की कोशिश की तो बदमाशों ने उन पर भी हमला किया और डेढ़ लाख रुपए निकालकर भाग हो गए।
बाइक और रुपए बरामद
मामले में शिकायत मिलने पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू की। मामले में तकनीकी अनुसंधान करते हुए पुलिस ने आरोपियों मोहम्मद फिरोज, ऋषि धुलिया उर्फ शक्ति को हिरासत में लिया। दोनों से पूछताछ के बाद पुलिस ने रोहित उर्फ गोलू, लखन सुमन, अजरुद्दीन उर्फ अज्जू और अर्जुन वाल्मिकी को गिरफ्तार किया। जिनसे पुलिस ने वारदात में प्रयुक्त बाइक भी बरामद की है। साथ ही 74 हजार रुपए भी बरामद किए
रुपए मांगे नहीं दिए तो वारदात
पूछताछ में सामने आया- गोविन्द के साथ गुटखा फैक्ट्री में काम करने वाले साथी मजदूर मोहम्मद फिरोज उर्फ अफरोज ने करीब 20-25 दिन पहले गोविन्द से पांच हजार रुपए मांगे थे। नहीं देने पर फिरोज ने अपने पड़ोस में रहने वाले ऋषि धूलिया उर्फ शक्ति से संपर्क कर घटना को अंजाम देने का षड्यंत्र रचा। आरोपी ऋषि ने अपने साथी अनन्तपुरा निवासी अजरुद्दीन उर्फ अज्जू से सम्पर्क किया। इसके बाद अन्य आरोपी भी योजना में शामिल हो गए। फिरोज ने पीड़ित के फैक्ट्री से निकलते समय सूचना देने पर घात लगाकर बैठे रोहित वाल्मिकी और लखन उर्फ लाखा ने चाकू से वार कर एवं देशी कट्टा दिखाकर घटना को अंजाम दिया। फिरोज, अजरुद्दीन उर्फ अज्जु, अर्जुन, ऋषी उर्फ शक्ती ने दूर खड़े रहकर आने जाने वाले पर नजर रखकर घटना की रैकी की। वारदात को अंजाम देने के लिए आरोपियों ने आरकेपुरम स्टेडियम से पल्सर बाइक चोरी की थी।
पार्टी की और मंदिर में हवन किया
वारदात के बाद लखन उर्फ लाखा व रोहित प्लसर से व अजरुद्दीन उर्फ अज्जू, ऋषि व अर्जुन स्पलेण्डर बाइक से अलग-अलग मार्ग से कैथून रोड रायपुरा पुलिया के पास पहुंचे। जहां पर लूट की राशि का बंटवारा किया गया। इसके बाद ऋषि व अर्जुन वापस कोटा आ गए। लखन, रोहित व अज्जू तीनों कैथून चले गए जहां पर एक रात रुकने के बाद इन्द्रगढ़ पहुंचे, जहां पर रोहित, लखन व अज्जू ने पार्टी की। इसके बाद मन्दिर में हवन व पूजा की गई ताकि लूट की वारदात में वह गिरफ्तार न हो। इसके बाद तीनों आरोपी भीलवाड़ा पहुंचे।