हैदराबाद। केरल में ऑर्गन ट्रैफिकिंग मामले में बेलमकोंडा राम प्रसाद को गिरफ्तार किया गया है। बताया जा रहा है राम प्रसाद किडनी दान करने वाले एक गिरोह के साथ जुड़ गया था। उसे डोनोर को ढूंढने का काम सौंपा गया जो प्राप्तकर्ताओं से मेल खाता हो। इसके बाद उन्होंने 60 प्रतिशत से अधिक डोनर मैच लाकर दिए । बता दें कि हैदराबाद के इस गिरोह का संपर्क ईरान से चल रहा था।
सबिथ नासर था मुख्य आरोपी
प्रसाद ने अंग तस्करी के लिए आंध्र प्रदेश में बड़ी संख्या से लोगों को शामिल किया। वहीं इस मामले में दो मलयाली,त्रिशूर के 30 साल के सबिथ नासर और कलामासेरी के 43 साल के साजिथ श्यामराज को पहले हिरासत में लिया गया था। हैदराबाद में इन तीनों से पूछताछ की गई, जिसके बाद जांचकर्ताओं ने पाया कि ईरान, कुवैत और श्रीलंका से ये रैकेट चल रहा था। सामने आई लेटेस्ट रिपोर्ट के मुताबिक, 2019 में अपनी किडनी बेचने के बाद सबिथ नासर इस रैकेट में शामिल हो गया।
बनाए गए फर्जी पासपोर्ट
इस मामले में विशेष जांच दल का नेतृत्व कर रहे एर्नाकुलम जिला पुलिस के प्रमुख वैभव सक्सेना ने कहा कि प्रसाद उस समय गिरोह के संपर्क में आया था जब उसने अपनी किडनी बेचने की कोशिश की थी। उनकी स्वास्थ्य समस्याओं ने उन्हें रोक दिया था, जिसके बाद वह रैकेट में शामिल हो गए और खरीददार बन गए।
भारत में गिरोह के सभी सदस्यों को गिरफ्तार कर लिया गया है। बताया जा रहा है ज्यादातर कम आय वाले परिवारों से लोगों को ईरान ले जाया गया और ट्रांसप्लांट से पहले अपार्टमेंट में ठहराया गया। उनके लिए फर्जी पासपोर्ट बनाने के लिए आधार कार्ड और अन्य दस्तावेजों का भी इस्तेमाल किया गया था।